टंडवा में फर्जीवाड़ा: भू-सत्यापन के दौरान धांधली, वरीय अधिकारियों को गुमराह कर अंचल प्रशासन के सहयोग से सीसीएल ने 22 लोगों को बांटे नौकरी व मुआवजा

Shashi Pathak
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सीसीएल के खनन क्षेत्र की सांकेतिक तस्वीर

छः सदस्यीय वरीय जांच टीम द्वारा प्राप्त रिपोर्ट के आधार पर मामला कराया गया दर्ज,भू- अर्जन पदाधिकारी ने की पुष्टि

आलेख: शशि पाठक

टंडवा (चतरा) राजस्व अभिलेखों में हेराफेरी,गलत साक्ष्य संलग्न कर वंशावली तथा भूमि का सत्यापन, सीसीएल के परियोजना में अवैध नियोजन और मुआवजों का अधिग्रहण कराने में टंडवा अंचल कार्यालय के सनसनीखेज कृत्यों पर जहां एक बार फिर से विभागीय मुहर लग गया है। वहीं मामला प्रकाश में आने के बाद अब अंचल के अधिकारी समेत उनके संलिप्त गठजोड़ को पूरी तरह से बेनकाब होना तय माना जा रहा है। इधर मामले को लेकर शुक्रवार को जिला भू-अर्जन पदाधिकारी वैभव कुमार सिंह ने स्थानीय थाना में 248 पृष्ठों का साक्ष्य संलग्न करते हुवे प्राथमिकी दर्ज कराई है।राजस्व शाखा के पत्रांक 802 के आलोक में छः सदस्यीय जांच टीम द्वारा प्रस्तुत जांच रिपोर्ट में कुल 22 लोगों द्वारा अंचलाधिकारी व सीसीएल कर्मियों के मिलीभगत व धोखाधड़ी से नौकरी तथा मुआवजा लेने के मामले सामने आये थे। उक्त आधार पर प्राथमिकी दर्ज कराने की कार्रवाई की गई है।

सीसीएल व अंचल कार्यालय के मिलीभगत से हुई है धांधली

प्रस्तुत दस्तावेजों में सामने आये कई चौंकाने वाले तथ्यों में सीसीएल पिपरवार व अंचल कार्यालय टंडवा के संदेहास्पद भूमिकाओं का जिक्र है। उपायुक्त के निर्देश पर अनुमंडल पदाधिकारी सह दंडाधिकारी सिमरिया के संयुक्त जांच प्रतिवेदन पत्रांक 84/अनु. दिनांक 28 जनवरी 2025 से प्राप्त रिपोर्ट को प्रमुख आधार बनाया गया है। जिसमें बाहरी व्यक्तियों को फर्जी वंशावली, लगान, हुकुमनामा तथाअवैध जमाबंदी को सत्यापित कर नौकरी व मुआवजा का लाभ दिया गया। पिपरवार थाना क्षेत्र के मौजा कनौदा में अनुसूचित जाति के परिवारों की भूमि खाता 1 प्लौट 40 रकबा 11.12 एकड़ भूमि को संगठित गिरोहों (भू – माफियाओं) ने ओवरलेप (दोहरा सत्यापन) कराये हैं।

भू-माफियाओं के तार हैं बहुत गहरे, फर्जीवाड़ा का दायरा हो सकता है बड़ा

जांच रिपोर्ट में आशंका जाहिर किया गया है कि गहन अनुसंधान में संलिप्त संगठित गिरोहों का दायरा बढ़ सकता है। कुल मिलाकर आम लोगों में इन दिनों सरकारी भूमि अभिलेखों में छेड़छाड़ और धांधली को लेकर बड़ा अविश्वास पनपा है। दावा किया जाता है कि अंचल क्षेत्र में राजस्व विभाग के अधिकारी व कर्मियों के मिलीभगत से बिचौलियों ने सेंधमारी कर कई अहम दस्तावेजों में बड़े पैमाने पर छेड़़-छाड़ किया गया है। जिन्हें भनक लग रही है वे तमाम वरीय अधिकारियों के पास अब दरख्वास्त लेकर पहुंच रहे हैं। पिछले दिनों हीं प्रमंडलीय आयुक्त पवन कुमार के समक्ष सैंकड़ों भुक्तभोगियों ने आवेदन सौंपकर जांच व कार्रवाई के गुहार लगाये हैं।

जालसाजी करने वालों के विरुद्ध उच्चस्तरीय जांच व कार्रवाई की मांग

वैसे तो भुक्तभोगियों की यहां फेहरिस्त काफी लंबी है। राजस्व विभाग में हेराफेरी और धांधली के कई सनसनीखेज मामले पूर्व में भी सामने आ चुके हैं जिसके कारण हीं जिला प्रशासन द्वारा रजिस्टर टू पंजी तक जब्त कर लिया गया। बहरहाल,आमलोग अब केंद्रीय एजेंसियों से जांच व कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। सिसई निवासी अजय पांडेय ने बताया कि उनके मामले में वर्तमान अंचल अधिकारी ने प्रमंडलीय आयुक्त, उपायुक्त समेत अन्य वरीय अधिकारियों के न्यायादेश तक को बदल दिया जिसके कारण अब उन्हें घोर फजीहत उठाना पड़ रहा है।

 

क्रमशः……

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