कोल वाहन के चपेट में आने से मजदूर की हुई दर्दनाक मौत, आक्रोश में 8 घंटे सड़क रहा जाम, घटना के विरोध में दुकानें रही बंद
न्यूज स्केल संवाददाता
टंडवा (चतरा) शनिवार को टंडवा थाना क्षेत्र अंतर्गत टंडवा-सिमरिया मुख्य सड़क किनारे स्थित रहमतनगर में तेज रफ्तार कोलवाहन ने मजदूरी करने जा रहे तेलियाडीह निवासी 45 वर्षीय सिकेन्द्र साव को अपनी चपेट में लेकर मौके से फरार हो गया। वहीं गंभीर रुप से घायल मजदूर को परिज रांची ले जा रहे थे कि रास्ते में हीं मौत हो गई। वहीं घटना से आक्रोशित सैंकड़ों लोगों द्वारा सड़क मुआवजा व कोल वाहनों के परिचालन बंद करने की मांग को लेकर जाम कर दिया गया। वहीं सूचना मिलते ही भाजपा सांसद प्रत्याशी कालीचरण सिंह, विधायक किसुन कुमार दास, झामुमो नेता मनोज चंद्रा, बीडीओ देवलाल उरांव, सीओ विजय दास, इंस्पेक्टर अनिल उरांव मौके पर पहुंचकर लोगों को समझाने-बुझाने का प्रयास करते रहे। ग्रामीण व परिजन दिन में लगे नो इंट्री का सख्ती से अनुपालन कराने, हजारीबाग जिले के केरेडारी से कटकमसांडी तक कोयले की ढुलाई बंद करने व पूर्व में मृतक के परिजनों को दिये गये 8 लाख रुपए की मुआवजा देने की मांग कर रहे थे। लगभग 8 घंटे तक सड़क जाम रहने के बाद मृतक के आश्रितों को तीन लाख रुपए नगद देते हुवे आपदा प्रबंधन से दो लाख रुपए अतिरिक्त देने का भरोसा दिलने के उपरांत जाम हटाया गया। साथ हीं, प्रखंड प्रशासन द्वारा नो इंट्री का अनुपालन सख्ती से कराने की बातें कही गई।
घटना के विरोध में दुकानें रही बंद
घटना में मजदूर की मौत के आक्रोश में मिश्रौलए धनगड्डा व तेलियाडीह मुख्य चौक की दुकानें बंद रही। कोल वाहनों से होने वाली दुर्घटनाओं में लगातार हो रही मौतों को लेकर आम ग्रामीणों के द्वारा नो एंट्री लगाने एवं चट्टीबारियातु के कोल वाहनों का परिचालन बंद कराने की मांग पर क्षेत्र के दुकानदारों ने भी अपना सहयोग दिया। सभी लोगों ने पुलिस-.प्रशासन व जनप्रतिनिधियों से नो एंट्री लगाने एवं चट्टीबारियातु के वाहनों को बंद कराने की एक स्वर में मांग की।
मुआवजे नीति व नो इंट्री का सख्ती से अनुपालन का मिला भरोसा
बढते सड़क दुर्घटनाओं में कोल वाहनों से हुई अप्रत्याशित वृद्धि पर रोक लगाने की मांगों पर, इसबार भी लोगों को सिर्फ भरोसा हीं मिला है। ठोस व समरुप मुआवजा नीति, सुबह 7 बजे से शाम 7 बजे तक नो इंट्री का सख्ती से अनुपालन व चट्टी बारियातु से हो रहे बेधड़क कोयला ढुलाई पर रोक लगाने पर दिग्गजों की मौजूदगी से ठोस असरदार पहल होने की उम्मीदें बनी थी। पर, इसबार भी पूर्ववत आश्वासन और लोगों को भरोसा हीं मिला है, जो कितना अमल में लाया जाता है ये देखना दिलचस्प होगा।