कर्नाटक में मतदान के बड़ा आए 10 एग्जिट पोल में से 4 में कांग्रेस को बहुमत, एक में बन रही बीजेपी की सरकार, 5 में त्रिशंकु, जेडीएस के पाले हो सकता है गेंद
नई दिल्ली/बेंगलुरु। चुनाव आयोग तक पहुंचा बजरंग दल के 1 से लेकर बजरंग बली की जय आदि बयान बाजी का मामला कर्नाटक में 10 मई 2023 को मतदान के समापन के साथ समाप्त। ऐसे में कर्नाटक की 224 सीटों पर 70.69% मतदान हुवे हैं। अब सभी को मतगणना और परिणाम का इंतजार है सभी को। जबकि उससे पहले विभिन्न संस्थानों द्वारा कराए गए 10 एग्जिट पोल करी किए गए हैं। जारी 10 एक्जिट पोल्स में, कांग्रेस की सरकार 4 में बन रही है, तो एक में भाजपा को बहुमत दिखाया गया है। जबकि 5 त्रिशंकु विधानसभा दिखाया जा रहा है। 4 सर्वे के अनुसार 21 से 28 सीटें जेडीएस को मिल सकती है और सरकार बनाने की चाभी भी इस बार भी 2018 की तरह जेडीएस के पास होगी। उपरोक्त सभी फिलहाल का हिसाब-किताब है। बस एक दिन और दो रुकिए, नतीजे 13 मई को आएंगे। वहीं किसी को भी सरकार बनाने के लिए 113 विधायक चाहिए।
एक्जिट पोल में किसने किसको क्या दिया
1. पोल ऑफ पोल्स के मुताबिक भाजपा 91, कांग्रेस 108, जेडीएस 22 और अन्य को 3 सीट मिलने का अनुमान है।
2. इंडिया टीवी-CNX: किसी को स्पष्ट बहुमत नहीं
पोल के मुताबिक, कांग्रेस 105 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बन सकती है। भाजपा 85 और जेडीएस 32 सीटें जीत सकती है। यानी बहुमत किसी को नहीं। सर्वे 6 मई को हुआ था। इसमें 112 सीटों के 11 हजार 200 लोगों से बातचीत की गई थी।
3. एबीपी न्यूज-सी वोटर: कांग्रेस की सरकार
सर्वे में कांग्रेस को 110 से 122, भाजपा को 73 से 85 और जेडीएस को 21 से 29 सीटें मिलने का अनुमान है। यानी सरकार कांग्रेस की। सर्वे में 73 हजार लोगों का फीडबैक है। 44% लोगों ने कांग्रेस की, 32% ने भाजपा की सरकार बनने का अनुमान जताया। 31% लोगों ने बेरोजगारी को सबसे बड़ा मुद्दा बताया।
4. जी न्यूज-मैट्रिज: भाजपा की सरकार
सर्वे में भाजपा को 103 से 118, कांग्रेस को 82 से 97 और जेडीएस को 28 से 33 सीटें मिलने का अनुमान। सैंपल साइज के लिहाज से यह सबसे बड़ा ओपिनियन पोल है। इसमें 224 सीटों पर 3 लाख 36 हजार लोगों से सवाल किए गए। हर विधानसभा सीट पर 1500 लोगों से बात की गई।
आंकड़े सर्वे में शामिल एजेंसीज के हैं।
सही साबित हुए थे 2018 में एग्जिट पोल
2018 में 6 बड़े एग्जिट पोल में से 4 में भाजपा को सबसे बड़ी पार्टी बताया गया था और परिणाम भी वही रहा था। भाजपा 224 में से 104 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बनी। पर कांग्रेस और जेडीएस ने मिलकर सरकार बनाई और उठापटक जारी रही। 5 वर्ष में कर्नाटक ने 2 सरकारें और 3 मुख्यमंत्री देखे।