Wednesday, October 30, 2024

अब 2000 के नोट हुए बंद, आरबीआई ने जारी किया निर्देश, चलन से होंगे बाहर, 30 सितंबर तक बैंकों में बदल सकेंगे लोग, एक बार में 10 नोट ही बदले जांएगे

बीते 8 नवंबर 2016 में नोटबंदी के बाद आरबीआई ने जारी किया था 2000 का नोट

न्यूज स्केल डेस्क
नई दिल्ली।
भारतीय रिजर्व बैंक 2000 के नोट को परिचलन (सर्कुलेशन) से वापस लेगा, पर वर्तमाण नोट अमान्य नहीं होंगे। आरबीआई वर्ष 2018-19 से 2000 के नोटों की छपाई बंद कर चुकी है। 2 हजार के नोट नवंबर 2016 में बाजार में आए थे। उस वक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 500 और 1000 के नोट बंद कर दिए थे और उसकी जगह 500 का नया नोट और 2000 का नोट जारी किया गया था। वहीं 2 हजार के नोट वापसी को लेकर आरबीआई द्वारा जारी निर्देश के अनुसार बैंकों को 23 मई से 30 सितंबर तक 2 हजार के नोट लेकर बदलने के निर्देश दिए हैं। जबकी एक बार में अधिकतम बीस हजार रुपए कीमत के नोट ही बदले जाएंगे। वहीं अब बैंक 2000 के नोट इश्यू नहीं करेंगे।
रिजर्व बैंक 2000 का नोट परिचलन से वापस लेगा, लेकिन मौजूदा नोट अमान्य नहीं होंगे। आरबीआई ने कहा कि इसका ऑब्जेक्टिव पूरा होने के बाद 2018-19 में इसकी छपाई बंद कर दी गई थी।

आदेश कब से होगा लागू

आरबीआई द्वारा जारी सर्कुलर के अनुसार 2000 के नोट को सर्कुलेशन से बाहर कर रहा है। इसकी कोई तारीख या समय नहीं दी गई है। ऐसे में उक्त आदेश तत्काल प्रभाव से लागू हो गया है।

नोटों को बैंकों में बदला जा सकता है। इसके लिए 30 सिंतबर 2023 तक का समय दिया गया है। नोट बदलने में कोई परेशानी न हो इसलिए बैंकों को भी इसके बारे में जानकारी दी गई है।
2 हजार के नोट को सरकार ने अभी चलन में भले ही बनाकर रखा है, लेकिन व्यापारी इससे लेनदेन करने में कतरा सकते हैं। ऐसे में बेहतर होगा कि बैंक से ही बदल लें।

नोट बदलने की तारीख बढ़ाई भी जा सकती है, लेकिन आखिरी तारीख का इंतजार न करें। अगर सरकार ने इसे अमान्य किया तो आपके पास रखे 2 हजार के नोटों की कोई कीमत नहीं रहेगी।

फैसला सभी के लिए लागू है। हर व्यक्ति जिसके पास 2000 के नोट हैं, उसे 23 सिंतबर से 30 सितंबर तक बैंक में जमा या एक्सचेंज करने होंगे। एक बार में अधिकतम 20 हजार रुपए कीमत के 10 नोट ही बदले जाएंगे।

श्क्लीन नोट पॉलिसीश् के तहत रिजर्व बैंक ने यह फैसला किया है। श्क्लीन नोट पॉलिसी में लोगों से गुजारिश कि गई है कि वह करेंसी नोट्स पर कुछ भी न लिखें, क्योंकि ऐसा करने से उनका रंग-रूप बिगड़ जाता है और लाइफ भी कम हो जाती है। लोगों को लेन-देन में अच्छी क्वालिटी के बैंक नोट (पेपर करेंसी) मिलें इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए क्लीन नोट पॉलिसी लागू की गई है।

जिसके भी पास 2 हजार के नोट हैं उसे बैंक में जाकर या बदलना होगा। 2016 में नोटबंदी में 500 और 1000 को नोट को बंद कर दिया गया था। इसे बदलने के लिए टाइम भी दिया गया था, लेकिन लंबी लाइनों के कारण लोगों को काफी परेशानी उठानी पड़ी थी।

कालाधन जमा करने वालों के लिए मददगार हो रहा था 2000 का नोट

2016 की नोटबंदी के बाद 1.3 लाख करोड़ का काला धन बाहर आया। आरबीआई की 2016-17 से लेकर 2021-22 तक की एनुअल रिपोर्ट्स बताती हैं कि आरबीआई ने 2016 से लेकर अब तक 500 और 2000 के कुल 6,849 करोड़ नोट छापे थे। इनमें से 1,680 करोड़ से ज्यादा नोट सर्कुलेशन से गायब हैं। इन गायब नोटों की वैल्यू 9.21 लाख करोड़ रुपए है। इन गायब नोटों में वो नोट शामिल नहीं हैं जिन्हें खराब हो जाने के बाद नष्ट आरबीआई ने कर दिया।

कानून के अनुसार ऐसी कोई भी रकम जिस पर टैक्स न चुकाया गया हो, ब्लैक मनी मानी जाती है। इस 9.21 लाख करोड़ रुपए में लोगों की घरों में जमा सेविंग्स भी शामिल हो सकती है। उत्तर प्रदेश चुनाव के दौरान इत्र कारोबारी और पश्चिम बंगाल के मंत्री पार्थ चटर्जी के करीबियों के यहां पड़े छापों में बरामद ब्लैक मनी में 95 प्रतिशत से ज्यादा 500 और 2000 के नोट थे।

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