न्यूज स्केल संवाददाता
चतरा/कान्हाचट्टी। भादो एकादशी के शुभ अवसर पर भाई-बहन के अटूअ प्रेम व समर्पण का पावन पर्व करमा बड़े हैं धूमधाम और हर्षाेल्लास के साथ जिले में शनिवार को मनाया गया। ज्ञात हो कि झारखंडी संस्कृति से जुड़े इस पर्व को बहनें अपने भाई की लंबी उम्र और खुशहाली के लिए मनाती हैं। पूरे झारखंड में करमा बड़े ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है और इसे लगभग हिंदू और आदिवासी समुदाय के लोग धूमधाम से मनाते हैं। झारखंड सरकार ने भी करमा के दिन सरकारी अवकाश की घोषणा कर दी है। करमा में उपवास रखकर बहनें भाई के लिए ईश्वर से लंबी उम्र की कामना करती हैं। महिलाएं व युवतियां अपने आंगन व अखरा में करम-डाली सजाकर उसकी चारों ओर नृत्य करती हैं। दिनभर उपवास रहने के बाद वह करम डाली गाड़ कर शाम को पूजा कर ईश्वर से भाई की सुख-समृद्ध की कामना करती हैं। वहीं दुसरे दिन डालियों का विसर्जन करने के बाद वह उपवास तोड़ेंगी। चतरा जिला अंतर्गत कान्हाचट्टी प्रखंड के कठौतिया गांव में करम महोत्सव का आयोजन किया गया। जिसमें पूरे रीति रिवाज संस्कृति परंपरा के साथ पूजा के साथ मांदर व नगाड़े के धुन पर नृत्य कार्यक्रम भी प्रस्तुत किया गया। इस अवसर पर मुख्य रूप से वन विभाग द्वारा वृक्षारोपण कर जल जंगल जमीन के संरक्षित करने का संकल्प लिया गया। जिसमें उत्तरी छोटानागपुर वन प्रमंडल क्षेत्र राजपुर रेंज के पदाधिकारी, रेंजर व सिपाही वनरक्षक सामूहिक रूप से सम्मिलित होकर वन संरक्षण को लेकर जागरुकता अभियान चलाया। कार्यक्रम में तुलबुल युवा निगरानी समिति के अध्यक्ष सह जेबीकेएसएस के प्रखंड अध्यक्ष सिकंदर सिंह भोक्ता भी शामिल होकर लोगों का मनोबल पढ़ते हुए अपनी संस्कृति और गौरव के प्रति अपने विचार रखें। करमा महोत्सव का आयोजन कठौतिया के दिलीप उरांव, अमित बांडो, आशीष कुजुर, नीरज बांडो, महेंद्र बांडो, आनंद कुजूर व भारी संख्या में ग्रामीण शामिल थे।
भादो एकादशी के शुभ अवसर करमा पूजा की जिले में रही धूम, महिलाओं व युवतियों ने की करम डाली की पूजा
For You