बुलेट पर सवार भगवाधारी महिलाएं शोभा यात्रा में हुई शामिल, दिखा सम्प्रदायिक सौहार्द

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भगवाधारी महिलाएं बुलेट पर सवार शोभा यात्रा में हुई शामिल, दिखा सम्प्रदायिक सौहार्द

चतरा। श्री राम नवमी की पूर्व सन्ध्या पर बुधवार को चतरा शहर में निकली शोभा यात्रा में बुलेट पर सवार शामिल भगवाधार महिलाएं रही आकर्षण का केंद्र। शहर में अपनी परंपरा के अनुसार मर्यदा परुषोत्तम भगवान श्री राम की व्यवहारों के अनुकूल मर्यादित रूप के साथ जन्मोत्सव मनाने की तैयारी की जा रही है। शोभायात्रा में जबरदस्त उत्साह व अनुशासन का पर्दशन ग्वालटोली देवी मंडप क्लब के द्वारा पेश किया गया। अनुशासित इस क्लब के कलाकारों को देखने के लिए जिला परिषद उपाध्यक्ष बिरजू तिवारी, नवलकिशोर यादव, राजद प्रदेश उपाध्यक्ष बिनोद सिंह भोक्ता, रिंकू खान, परवेज़ अख्तर के अतिरिक्त सैकड़ों की संख्या में दोनों समुदायों के लोग शामिल थे। पुलिस प्रशासन की ओर से एसडीपीओ अविनाश कुमार विधि व्यवस्था बनाए रखने के लिए मोर्चा संभाले हुए थे। ड्रॉन कैमरा से जुलूस की पूरी गतिविधियों को कैद किया जा रहा था। भगवान श्रीराम के जन्मोत्सव पर कलाकारों के द्वारा आकर्षक धुन बजाए जा रहे थे। शोभा यात्रा में पुरूषों के साथ काफ़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं।

                       सम्प्रदायिक एकता की अद्भुत मिसाल

चतरा जिला सम्प्रदायिक एकता के प्रतीक के रूप में जाना जाता है। इसकी अद्भुत मिसाल बुधवार को देखा गया। एक ओर मुस्लिम समुदाय रमजान की पावन अवसर पर इफ्तार के लिए मार्केटिंग कर रहे थे। तो दूसरी ओर शोभा यात्रा का आकर्षक जुलूस निकाला हुआ था। इस दौरान दोनों समुदायों के लोगों ने एक दूसरे को बधाई देते देखे गए। शहर में गंगा जमुनी तहजीब का खुले प्रदर्शन ने पुनः स्वतन्त्रता सेनानी सूबेदार जयमंगल पांडेय और सूबेदार नादिर अली शाह की कथन साथ मरेंगे और साथ जियेंगे को स्थापित किया। चतरा की धरती में एकता की नींव बड़ी गहरी है। यह धरती अपने मोहब्बत की आगोश में सबको मदहोश कर देता है। चतरा की जनता एक दूसरे के प्रति आदर और सम्मान की भावनाओं के प्रति समर्पित हैं। यही कारण है चतरा की जनता एक दूसरे की धार्मिक पर्वों में बढ़चढ़ कर हिस्सा लेते हैं। जिला प्रशासन ने पर्व में व्यवधान उत्पन्न करने वाले असामाजिक तत्वों से निबटने के लिए पूरी तैयारी कर ली है। सोशल नेटवर्किंग से लेकर पूरी व्यवस्था पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है। आवश्यकता अनुसार ड्रॉन कैमरों के माध्यम से भी निगरानी की जा रही है। पुलिस प्रशासन की चुस्तदुरुस्त और चौकचौबन्द व्यवस्था के आगे परिंदा भी बगैर इजाजत के पर नहीं मार सकता है। शहर में मजिस्ट्रेट और पुलिस पदाधिकारी के साथ जवानों की तैनाती पर्याप्त मात्रा में कर दी गई है।